डिजिटल लेन देन (Digital Transactions) बढ़ने के साथ ही डिजिटल फ्रॉड (digital fraud), ऑनलाइन ठगी (online fraud) और साइबर धोखाधड़ी (cyber fraud) के मामले भी तेजी से बढ़ रहे है। साइबर ठगों द्वारा लोगों को अपने जाल में फंसाकर उनके बैंक खातों (Bank Account) से पैसे उड़ा दिए जा रहे हैं। ऐसे में लोग समझ नहीं पा रहे की ऐसी धोखाधड़ी की शिकायत वो कहाँ करें? क्योंकि इस तरह की शिकायतों में पुलिस थाने, चौकी या बैंक कहीं से भी पीड़ित लोगों को मदद नहीं मिल पाती है।
जानकारी के अभाव में लोग समझ नहीं पाते कि इस तरह का Cyber Fraud होने पर वे इसकी शिकायत कहाँ करें, Cyber Fraud Complain Helpline Number क्या है, Cyber Fraud Complain Website कौन सी है इत्यादि.
इसलिए आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि साइबर ठगी (Cyber Fraud) का शिकार होने पर आप कहाँ और कैसे शिकायत करें जिससे आपको तत्काल मदद मिल सके।
वित्तीय लेनदेन से संबंधित फाइनेंसियल धोखाधड़ी (Financial Fraud), ऑनलाइन फ्रॉड और साइबर ठगी (Cyber Fraud) को रोकने के लिए भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र (Indian Cyber Crime Coordination Center) द्वारा एक Cyber Fraud complain Helpline Number जारी किया गया है। यह वह नम्बर है जो आपको उस वक्त बहुत बड़ी परेशानी से बचा सकता है जब आप किसी साइबर ठगी (Cyber Fraud) के शिकार हो गए हों।
यह Cyber Fraud complain Helpline Number है 155260. कृपया इसे अपनी फोन बुक में जरूर सेव कर लें। इस हेल्पलाइन नंबर और इसके रिपोर्टिंग प्लेटफॉर्म को गृह मंत्रालय (home ministry) के तहत साइबर धोखाधड़ी (Cyber Fraud) के कारण होने वाले वित्तीय नुकसान (Financial Loss) को रोकने के लिए भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र (Indian Cyber Crime Coordination Center) द्वारा जारी किया गया है. फिलहाल इसे सात राज्यों छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh), दिल्ली (Delhi), मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh), राजस्थान (Rajasthan), तेलंगाना (Telangana), उत्तराखंड (Uttarakhand), उत्तर प्रदेश (Uttarpradesh) और केंद्र शासित राज्यों में चालू कर दिया गया है।
इसमें शामिल होने वाले सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के कई महत्त्वपूर्ण बैंक (Public & Private Sector Banks) हैं, भारतीय स्टेट बैंक (State Bank of India), पंजाब नैशनल बैंक (Punjab National Bank), बैंक ऑफ बड़ौदा (Bank of Baroda), बैंक ऑफ इंडिया (Bank of India), यूनियन बैंक (Union Bank), इंडसइंड बैंक (IndusInd Bank), एचडीएफसी बैंक (HDFC Bank), आईसीआईसीआई बैंक (ICICI Bank), ऐक्सिस बैंक (Axis Bank), येस बैंक (Yes Bank) और कोटक महिंद्रा बैंक (Kotak Mahindra Bank). इसके अलावा पेटीएम (Paytm), फोनपे (PhonePe), मोबिक्विक (Mobikwik), फ्लिपकार्ट (Flipkart) और एमेजॉन (Amazon) जैसे सभी प्रमुख ई-वॉलेट (E-Wallet) और मर्चेंट (Merchant) भी इससे जुड़े हुए हैं
मान लीजिए कि आपके साथ कोई साइबर ठगी (Cyber Fraud) की घटना घट गई है, किसी ने आपको बातों में उलझाकर आपके मोबाइल (Mobile) को हैक (Hack) कर ओटीपी (OTP) हासिल कर लिया है और आपके बैंक एकाउंट (Bank Account) में जमा रकम उस धोखेबाज के बैंक एकाऊंट में चली गई है, तो इस Cyber Fraud complain Helpline Number पर शिकायत होते ही संबंधित बैंक, जिसके खाते में Cyber Fraud की रकम जमा की गई है उसे अलर्ट भेज दिया जाएगा. अलर्ट आने के बाद बैंक उस खाते की रकम को फौरन फ्रीज कर देंगे. इससे ठग कम से कम उस रकम को निकाल नहीं सकेगा. अगर रकम को एक बैंक के खाते से दूसरे किसी बैंक के खाते में भेजा गया है तो संबंधित बैंक ही दूसरे बैंक को अलर्ट भेजकर खाते को फ्रीज कराने की कार्रवाई करेगा.
इस रिपोर्टिंग प्लेटफार्म की प्रक्रिया यह है कि जैसे ही कोई Cyber Fraud का शिकार पीड़ित व्यक्ति अपनी शिकायत के लिए इस Cyber Fraud complain Helpline Number 155260 पर कॉल करता है, तो उसकी पूरी डीटेल फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशन (Financial Institution) तक पहुंच जाती हैं. यह साइबर फ्रॉड ट्रांजेक्शन टिकट (Cyber Fraud Transaction Ticket) जिस वित्तीय संस्थान से पैसा कटा (Debit) है और जिस वित्तीय संस्थान में गया (Credit) है. दोनों के डैशबोर्ड पर नजर आएगा. जिस बैंक/वॉलेट में टिकट दिया गया होता है, उसे फ्रॉड ट्रांजेक्शन (Fraud Transaction) की जानकारी के लिए जांच करनी होती है. इसके बाद ट्रांजेक्शन को टेम्पोरेरी ब्लॉक (Temporary Block) कर दिया जाता है.
एक बार इस Cyber Fraud complain Helpline Number पर Cyber Fraud की शिकायत दर्ज हो जाने पर आपको आपकी शिकायत का कंप्लेंट नम्बर SMS द्वारा भेज दिया जाता है. इसके साथ ही इसमें एक वेबसाइट लिंक (Website Link) व निर्देश भी होते हैं कि इस पावती संख्या (Complain Number) का इस्तेमाल करके 24 घंटे के भीतर धोखाधड़ी का पूरा विवरण राष्ट्रीय साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल (National Cyber Crime Reporting Portal)
cybercrime.gov.in पर दें, इसके बाद बैंक द्वारा आपकी शिकायत का संज्ञान ले लिया जाता है.
लेकिन इसके लिए सबसे जरूरी यह है कि आपके साथ यदि किसी भी तरह का ऑनलाइन बैंकिंग फ्रॉड (Online Banking Fraud) या अन्य प्रकार की साइबर धोखाधड़ी (Cyber Fraud) की घटना होती है तो आप इसकी सूचना Cyber Fraud Complain Helpline Number 155260 पर तुरन्त दे. यानी इस प्रणाली की सफलता आपकी सतर्कता पर ही निर्भर है. कानून भी यही कहता है. जुलाई 2017 की आरबीआई की अधिसूचना (RBI Circular) के अनुसार अगर बैंक के किसी खाताधारक (Account Holder) का पैसा धोखे से निकाला जाता है और वह व्यक्ति अपराध के 72 घंटे के भीतर इस घटना की सूचना देता है, तो बैंक को वह पूरी राशि उस खाताधारक को 10 कार्य दिवस (Working Days) के भीतर देनी होगी.
एक बात और बता दें कि यह Cyber Fraud Complain Helpline सिर्फ मदद के लिए है। यह वित्तीय धोखाधड़ी (Financial Fraud) के मामले में एफआईआर (FIR) यानी प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज करने की आवश्यकता को समाप्त नहीं करती है. पैसा सही मालिक को वापस स्थानांतरित किए जाने से पहले यदि धोखेबाजी करने वाला व्यक्ति पैसा निकालने में सफल हो जाता है, तो यह मामला पुलिस (Police) के पास ले जाना ही होगा.
ऐसे में जबकि लगभग हर व्यक्ति लेनदेन (Transaction) के लिये डिजिटल माध्यम (Digital Medium) का इस्तेमाल कर रहा है, तो उसकी फोन बुक में इस Cyber Fraud Complain Helpline Number
155260 का होना बहुत जरूरी है. यदि आपने अभी तक इस नम्बर को Save नही किया है तो इसे तुरन्त Save करें।
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